नई दिल्ली: केन्द्रीय आवास और शहरी कार्य मंत्रालय के स्वच्छता सर्वेक्षण 2024-25 में छत्तीसगढ़ के सात शहरों ने अपनी स्वच्छता का जलवा बिखेरा है। बिल्हा नगर पंचायत, जो 20 हजार से कम आबादी वाले शहरों की श्रेणी में आती है, देश का सबसे स्वच्छ शहर बनकर राष्ट्रीय स्तर पर प्रथम स्थान हासिल किया है। इसी श्रेणी में बिलासपुर को तीन लाख से दस लाख आबादी वाले शहरों में दूसरा स्थान मिला है, जबकि कुम्हारी ने 20 हजार से 50 हजार आबादी वाले शहरों में तीसरा स्थान प्राप्त किया है।
राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु ने सात नगरीय निकायों को किया पुरस्कृत:
नई दिल्ली के विज्ञान भवन में आयोजित एक भव्य समारोह में राष्ट्रपति श्रीमती द्रौपदी मुर्मु ने इन तीनों नगरीय निकायों के साथ-साथ छत्तीसगढ़ के कुल सात नगरीय निकायों को स्वच्छता सर्वेक्षण में उत्कृष्ट प्रदर्शन के लिए पुरस्कृत किया। उप मुख्यमंत्री एवं नगरीय प्रशासन एवं विकास मंत्री श्री अरुण साव, संबंधित महापौर, अध्यक्ष और अधिकारी भी पुरस्कार ग्रहण समारोह में उपस्थित थे। केन्द्रीय आवास और शहरी कार्य मंत्री श्री मनोहर लाल और राज्य मंत्री श्री तोखन साहू ने भी समारोह में भाग लिया।
रायपुर को ‘प्रॉमिसिंग स्वच्छ शहर’ का पुरस्कार मिला:
इस सर्वेक्षण में अंबिकापुर, पाटन, विश्रामपुर और रायपुर ने भी छत्तीसगढ़ का नाम राष्ट्रीय स्तर पर रोशन किया है। पहली बार ‘स्वच्छता सुपर लीग’ (SSL) की नई श्रेणी में अंबिकापुर (50 हजार से 3 लाख आबादी वाले शहरों में) तथा पाटन और विश्रामपुर (20 हजार से कम आबादी वाले शहरों में) ने अपनी जगह बनाई है। ये शहर पिछले तीन वर्षों में कम से कम एक बार शीर्ष तीन में रहे हैं और इस वर्ष शीर्ष 20 शहरों में शामिल हैं। वहीं, राजधानी रायपुर को ‘प्रॉमिसिंग स्वच्छ शहर’ का पुरस्कार मिला है।
मुख्यमंत्री ने विजेता नगरीय निकायों को दी बधाई:
मुख्यमंत्री श्री विष्णु देव साय ने सभी विजेता नगरीय निकायों को बधाई देते हुए कहा कि यह उपलब्धि राज्य के लिए गर्व का क्षण है। उन्होंने कहा कि यह पुरस्कार स्थानीय प्रशासन, नागरिकों और सभी संबंधितों के सामूहिक प्रयासों का परिणाम है और यह अन्य शहरों को भी स्वच्छता के प्रति प्रेरित करेगा।
उप मुख्यमंत्री साव ने भी नगरीय निकायों को दी बधाई :
उप मुख्यमंत्री और नगरीय प्रशासन एवं विकास मंत्री श्री अरुण साव ने भी पुरस्कार प्राप्त नगरीय निकायों को शुभकामनाएं दीं और कहा कि यह सम्मान केवल उपलब्धि नहीं बल्कि स्वच्छता के प्रति निरंतर प्रयासों का प्रमाण है। उन्होंने आशा व्यक्त की कि भविष्य में अन्य शहर भी इस तरह के राष्ट्रीय पुरस्कार हासिल करेंगे।